बीकाॅम ऑनर्स के छात्रा,गोली मारकर हत्या,
शराब पार्टी
दोस्त को उसके रूममेट को हिरासत में लिया
लखनऊ। चिनहट में बुधवार देर रात बीकाॅम ऑनर्स के छात्रा की उसके दोस्त ने गोली मारकर हत्या कर दी। अस्पताल से सूचना मिलने पर पुलिस को हत्या की जानकारी हुई। जिसके बाद पुलिस ने हत्यारोपी दोस्त को उसके रूममेट के साथ हिरासत में ले लिया है। पुलिस ने हत्या में इस्तेमाल अवैध पिस्टल भी जब्त कर लिया है। हत्यारोपी दोस्त पुलिस को छीना-झपटी में पिस्टल का ट्रिगर दब जाने का थ्योरी बता रहा है। छात्रा को गोली सीने के बायीं ओर ऊपर लगी है।
मूल रुप से कोतवाली रोड हरदोई निवासी संतोष कुमार तिवारी की बेटी निष्ठा (23) बाबू बनारसी दास यूनिवर्सिटी में बीकॉम ऑनर्स में पढ़ती थी। लगभग सवा दो साल तक बीबीडी हास्टल में रहने के बाद वह पारसनाथ सिटी में दो सहपाठियों के साथ किराये के मकान में रहने लगी थी। हफ्ते भर पहले इंस्टाग्राम के जरिए उसकी दोस्ती आदित्य देव पाठक उर्फ आदित्य पंडित से हुई थी। आदित्य मूल रुप से खेजूरी खड़सरा जनपद बलिया कर रहने वाला है, और यहां ए-9 दयाल रेजीडेंसी में किराये के मकान में रहकर ठेकेदारी करता है।
शराब पार्टी के दौरान हुई वारदात
बीती रात निष्ठा बीबीडी में आयोजित गणेश महोत्सव गई थी। आदित्य भी वहां पहुंचा। गणेश महोत्सव का कार्यक्रम सम्पन्न होने के बाद आदित्य निष्ठा को लेकर दयाल रेजीडेंस चला गया। बताया जा रहा है कि वहां शराब पार्टी हुई। आदित्य का रूम पार्टनर मोनू और उसके कुछ साथी वहां मौजूद थे। हत्यारोपी ने पुलिस को बताया कि रात तकरीबन 2 से 3 बजे की बीच निष्ठा की नजर अलमारी में रखे अवैध पिस्टल पर पड़ी। आदित्य के अनुसार वह पिस्टल लेकर यह पूछने लगी कि यह चलती कैसे है। इस बीच आदित्य निष्ठा के हाथों से पिस्टल छीनने लगा। पिस्टल की छीनाझपटी में ट्रिगर दब गया। गोली लगते ही निष्ठा गश खाकर नीचे गिर गई। गोली चलने के बाद वहां हड़कंप मच गया। आनन-फानन निष्ठा को लोहिया अस्पताल ले जाया गया। जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
कई दिनों से कर रहा था परेशान
छात्रा के पिता संतोष ने कहा कि उनकी बेटी निष्ठा ने कुछ दिन पहले बताया था कि आदित्य देव पाठक ने इंस्टाग्राम से उससे दोस्ती की उसके बाद से उसे मैसेज भेज कर बहुत परेशान कर रहा है। जिस पर संतोष ने उसके मोबाइल फ़ोन नंबर को ब्लैक लिस्ट में डालने की सलाह दी थी लेकिन संतोष को नहीं मालूम था कि जिस बेटी को लाड-प्यार से पाला अब वह कभी घर की चौखट नहीं पहुंचेगी। पिता संतोष ने बताया कि निष्ठा एक माह से घर पर थी अभी चार पांच दिन पहले ही घर से आई थी।
बेटी की दशा देख फूटा आक्रोश
कन्नौज जिले में यूपी सहकारी ग्राम्य विकास बैंक में बतौर सीनियर मैनेजर के पद पर कार्यरत मृतक छात्रा के पिता संतोष ने बताया कि निष्ठा की हत्या किए जाने की खबर से पूरे परिवार में मातम छा गया। सुबह राम मनोहर अस्पताल के डाक्टर ने उन्हें फोन कर बताया कि उनकी बेटी को गोली लगी है।
जिस पर वह अपने रिश्तेदारों के साथ अस्पताल गए। फिर चिनहट कोतवाली पहुंचे, जहां पर मौजूद डीसीपी पूर्वी सहित अन्य अफसरों से मुलाकात कर उन्होंने न्याय की गुहार लगाई। ग़म में डूबा संतोष के परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है। रोते हुए संतोष ने कहा कि आदित्य खूंखार दरिंदा है। शक्ल से पेशेवर अपराधी लगता है। उन्होंने मुख्यमंत्री से गुहार लगाई कि खूनी को सूली पर चढ़ा दो तभी सुकून मिलेगा।
पुलिसकर्मी के मकान में किराये पर रहता है आरोपी
जिस घर में छात्रा की गोली मारकर हत्या की गई है। वह घर पुलिसकर्मी का है। आरोपी आदित्य देव पाठक अपने साथियों के साथ जिस मकान में रहता है। वह पुलिसकर्मी हिमांशु श्रीवास्तव व सुधांशु श्रीवास्तव का मकान है। घर के बाहर पुलिसकर्मियों के नाम की प्लेट लगी हुई है। ताज्जुब की बात यह है कि आरोपी के विरूद्ध पहले से ही आपराधिक मुकदमा दर्ज है और वह बड़ी ही शान से वहां पर रह रहा है।
मकान-मालिक पुलिसकर्मियों ने आदित्य का सत्यापन कराया था या नहीं इस बारे में चिनहट पुलिस बताने में हिचकती रही। हत्यारोपी आदित्य देव पाठक उर्फ आदित्य पंडित के खिलाफ चिनहट कोतवाली में फरवरी 2023 में मुकदमा दर्ज हुआ था। 31 अगस्त को वह जेल से बाहर निकला था। आदित्य कुल 28 दिनों तक लखनऊ के जेल में बंद रहा। गोरखपुर से पढ़ाई पूरी करने के बाद वह काम की तलाश में लखनऊ आ गया था। तब वह दयाल रेजीडेंसी में ही रहता था।
पत्रकार को मौके वारदात पर मिला खोखा
दयाल रेजीडेंसी में गोली मार कर छात्रा की हत्या किये जाने की सूचना मिलने के बाद पुलिस, इंस्पेक्टर चिनहट आलोक राव, एसीपी विभूतिखण्ड अनिंद्य विक्रम सिंह, एडीसीपी पूर्वी अली अब्बास और डीसीपी पूर्वी हृदेश कुमार मामले की छानबीन करने घटना स्थल पर पहुंचे। पुलिस ने जिस अवैध पिस्टल से गोली चली थी उसे भी बरामद कर लिया लेकिन कारतूस से निकले खोखा पर पुलिस की नजर नहीं पड़ी।
अपनी जांच पड़ताल पूरी कर जब पुलिस घटनस्थल से चली गई तो कारतूस का खोखा एक पत्रकार को मिला। पत्रकार ने डीसीपी पूर्वी को इसकी जानकारी दी। डीसीपी पूर्वी ने इंस्पेक्टर चिनहट से इस लापरवाही का कारण पूछा तो उन्होंने अपना बचाव करते हुए जवाब दिया कि पत्रकार घटनास्थल पर पहले पहुंच गए थे।